आज यूक्रेन पर रूसी हमले (Russia Ukraine War)का दूसरा दिन है। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के यूक्रेन पर हमले के फैसले की दुनिया भर में निंदा हो रही है। हंगरी, फ्रांस, जापान, स्विटजरलैंड, अमेरिका, जर्मनी, ऑस्ट्रेलिया में लोग रूसी हमले के खिलाफ प्रोटेस्ट कर रहे हैं। वहीं, पुतिन के खिलाफ उनके अपने देश में भी लोग प्रदर्शन कर रहे हैं। रूस की बड़ी हस्तियों और पत्रकारों का कहना है कि इस युद्ध (Russia Ukraine War)की शुरूआत कर रूस ने खुद को दुनिया से अलग-थलग कर लिया है।
भारतीय छात्रों ने लगाई मदद की गुहार
इधर, यूक्रेन में फंसे भारतीयों ने भी सरकार से मदद की गुहार लगाई है। भारतीय छात्रों ने दिल्ली में प्रदर्शन और सरकार पर दबाव बनाने की अपील की है। यूक्रेन में भारतीय छात्रों के प्रमुख एजेंट हरदीप ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डाला है। इसमें वह मदद की गुहार लगा रहे हैं। उन्होंने छात्रों को कहा है कि अगर उनके परिजन या जान पहचान के लोग दिल्ली में रशियन एंबेसी के सामने प्रोटेस्ट करें, तो रूसी सरकार पर दबाव बनेगा और हमारा यूक्रेन से निकलने का रास्ता बन पाएगा।
रूस के खिलाफ दुनियाभर में प्रदर्शन
रूस के एक्शन की खिलाफत न्यूयॉर्क ने यूक्रेन में तुंरत हमले रोकने की मांग की। जर्मनी के बर्लिन में ब्रैंडेनबर्ग गेट के सामने सैकड़ों लोगों ने प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों में ज्यादातर रूसी लोग शामिल थे। पोलैंड के क्राको में लोगों ने हाथ में यूक्रेन का झंडा लेकर पुतिन के खिलाफ प्रदर्शन किया और युद्ध रोकने की मांग की।
वहीं जापान के टोक्यो में गुरुवार को जापानी और यूक्रेनी लोग साथ आए। लोगों ने गेट आउट पुतिन के पोस्टर उठा रखे थे। ऑस्ट्रेलिया में भी रूस के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान लोगों ने पुतिन की तुलना हिटलर से की।
हंगरी के बुडापेस्ट में हजारों लोगों ने रूसी दूतावास के बाहर प्रदर्शन किया। हाथों में यूक्रेन के झंडे लेकर इन लोगों ने रूस की कार्रवाई का विरोध किया।